Sonbhadra News : अब हार्ट अटैक के मरीजों को बचाने के लिए सीएचसी पर निःशुल्क लगेगा 50 हजार का इंजेक्शन
प्रदेश में हृदयाघात यानी हार्ट अटैक से होने वाली मौतें हर साल बढ़ती जा रही थीं। विशेषकर जाड़े के मौसम में यह संख्या और अधिक हो जाती है। इसका सबसे बड़ा कारण था कि हार्ट अटैक के दौरान “गोल्डन आवर”....

सीएमओ डॉ0 पंकज कुमार राय
sonbhadra
10:55 PM, November 22, 2025
आनन्द कुमार चौबे (संवाददाता)
सोनभद्र । प्रदेश में हृदयाघात यानी हार्ट अटैक से होने वाली मौतें हर साल बढ़ती जा रही थीं। विशेषकर जाड़े के मौसम में यह संख्या और अधिक हो जाती है। इसका सबसे बड़ा कारण था कि हार्ट अटैक के दौरान “गोल्डन आवर” में जीवन बचाने वाला थ्रोमॉलिसिस इंजेक्शन समय पर उपलब्ध नहीं हो पाता था। इस इंजेक्शन की कीमत लगभग 50 हजार रुपये होने के कारण गरीब और मध्यमवर्गीय मरीज समय पर इसे खरीद नहीं पाते, जिससे कई बार उन्हें अपनी जान गंवानी पड़ती थी। अनुमान है कि हर जिले में हर साल करीब 200 से 300 लोग इसकी अनुपलब्धता के कारण काल के ग्रास में समा जाते थे।
उत्तर प्रदेश में हार्ट अटैक से होने वाली मौतों को कम करने के लिए राज्य सरकार ने एक महत्वपूर्ण और ऐतिहासिक कदम उठाया है। सरकार ने निर्णय लिया है कि अब हार्ट अटैक के मरीजों को प्रदेश के सभी मेडिकल कॉलेजों, जिला अस्पतालों और प्रमुख सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों (सीएचसी) में निशुल्क ‘टेनेक्टेप्लाज’ या ‘स्ट्रेप्टोकाइनेज’ इंजेक्शन लगाया जाएगा। यह इंजेक्शन बाजार में लगभग 40 से 50 हजार रुपये में मिलता है, लेकिन अब इसे पूरी तरह मुफ्त उपलब्ध कराया जाएगा। यह निर्णय स्वास्थ्य सेवाओं को आम जनता की पहुंच तक लाने और जीवन रक्षा क्षमता को बढ़ाने की दिशा में बड़ी पहल माना जा रहा है।
वहीं जनपद सोनभद्र की बात करें ठण्ड की शुरुआत होते ही हार्ट अटैक के मरीजों की संख्या बढ़ने लगती है। शहर से गांव तक ह्दयघात जैसी गंभीर बीमारी के शिकार मरीज वाराणसी स्थित हायर सेंटर पहुंचने से पहले अब दम तोड़ देते हैं। इसके लिए प्रदेश सरकार ने उपचार की व्यवस्था की है। वाराणसी बीएचयू के हब से सोनभद्र को जोड़ दिया है। जिसमें जिला अस्पताल सहित चोपन, घोरावल, म्योरपुर और अनपरा के सीएचसी शामिल हैं। जहां ह्दयघात के मरीज को तकलीफ होने पर विशेषज्ञों की रिपोर्ट के आधार के बाद 50 हजार वाला इंजेक्शन फ्री में लगाया जायेगा। जिसके बाद मरीज ह्दयघात जैसी बीमारी से कंट्रोल में आयेगा और रिस्पांस टाइम की स्थिति में मरीज तत्काल रेफर होकर वाराणसी स्थित बीएचयू से संपूर्ण ह्दयरोग का उपचार पा सकेगा।
मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ0 पी0के0 राय ने बताया कि "हार्ट अटैक की स्थिति में हृदय की रक्त वाहिकाओं में रक्त का थक्का जम जाता है, जिससे रक्त प्रवाह रुक जाता है और मरीज की जान पर खतरा बढ़ जाता है। समय पर "टेनेक्टेप्लाज" या "स्ट्रेप्टोकाइनेज" इंजेक्शन दिए जाने से यह थक्का घुल जाता है और मरीज की जान बचाने की संभावना कई गुना बढ़ जाती है। उन्होंने बताया कि जिला अस्पताल, सीएचसी चोपन, म्योरपुर, घोरावल व संयुक्त हॉस्पिटल अनपरा के डॉक्टर्स और टेक्निकल स्टॉप को ट्रेनिंग दी जा चुकी हैं, वहीं एसीएमओ डॉ0गिरधारी लाल को नोडल अधिकारी बनाया गया हैं। ऐसे में अब यहां ह्दयघात के मरीज पहुंचते हैं तो सबसे पहले ईसीजी किया जायेगा। इसीजी की रिपोर्ट में अगर गैस या अन्य बीमारियों का मरीज निकलता है तो वैसा उपचार दिया जायेगा। अगर ह्दयघात का मरीज है तो उसके लक्षण और ईसीजी रिपोर्ट वाराणसी हब पर वाट्सएप की जायेगी। अगले पांच मिनट में हब के विशेषज्ञ उपचार परामर्श ग्रुप पर ही शेयर करेंगे। जिसमें अगल स्टैमनी की समस्या है तो मरीज को टनस्काप्लेस इंजेक्शन दिया जायेगा। यह इंजेक्शन की कीमत करीब 45 से 50 हजार रुपये है।"



