कर्नाटक विधानसभा के स्पीकर ने तीन विधायकों को दिया अयोग्य करार
25 जुलाई 2019
कर्नाटक में जेडीएस-कांग्रेस के हाथ से सरकार जा चुकी है. लंबे वक्त तक चले सियासी नाटक के बाद गुरुवार को कर्नाटक विधानसभा के स्पीकर ने तीन विधायकों को अयोग्य करार दे दिया । उन्होंने कहा ‘मेरे पास कई शिकायतें हैं, मुझे फैसले के लिए और वक्त चाहिए । ऐसों मामले की स्टडी करनी पड़ती है।’ विधानसभा स्पीकर के इस एक्शन के बाद कई तरह की अटकलें लगाई जा रही हैं । अगर स्पीकर ने ये कार्यवाही कुछ दिनों पहले की होती तो कर्नाटक का राजनीतिक समीकरण कुछ और भी हो सकता था।
गुरुवार को कर्नाटक विधानसभा के स्पीकर ने तीन विधायकों को अयोग्य करार दे दिया । इन विधायकों में आर. शंकर, रमेश जरकिहोली और महेश कुमथल्ली के नाम हैं । इससे पहले रमेश जरकिहोली और महेश कुमथल्ली के बारे में स्पीकर रमेश कुमार ने कहा था कि उन्होंने (दोनों विधायक) मुझे कभी सूचित नहीं किया कि वे 6 जुलाई को मेरे कक्ष में आए थे. उन्होंने एक गलत प्रारूप में इस्तीफा दिया । मैंने अपने सचिव को उनके पत्र लेने का निर्देश दिया था ।
31 जुलाई से पहले पेश होना है फाइनेंस बिल

इससे पहले भाजपा नेताओं का एक दल बुधवार को स्पीकर से मिला था। इसका मकसद फाइनेंस बिल पर चर्चा करना था, जिसे 31 जुलाई से पहले पेश किया जाना है। कर्नाटक विधानसभा में 15 बागी विधायकों ने एचडी कुमारस्वामी सरकार से अपना समर्थन वापस लिया। स्पीकर को उनके भविष्य पर निर्णय लेना है कि इस्तीफा स्वीकार किया जाए या फिर उन्हें अयोग्य करार दिया जाए।
ऐसे बढ़ गई सरकार की मुश्किलें
चार दिन चली चर्चा के बाद 23 जुलाई कीशाम को कुमारस्वामी सरकार फ्लोर टेस्ट में फेल हो गई थी। विश्वास मत के दौरान स्पीकर कोहटाकर सदन में विधायकों की संख्या 204 थी। बहुमत के लिए 103 का आंकड़ा जरूरी था। कांग्रेस-जेडीएस के पक्ष में 99 वोटपड़े, जबकि विरोध में 105 वोट पड़े। कुमारस्वामी 14 महीने से 116 विधायकों के साथ सरकार चला रहे थे, लेकिन इसी महीने 15विधायक बागी हो गए। यहीं से सरकार के लिए मुश्किलें बढ़ गई थीं।